सत्संग और साधना से दिव्य हो जाता है मानव जीवन – स्वामी गिरीशानंद
हमीरपुर। उदय गार्डन सुमेरपुर में चल रहे प्रवचन कार्यक्रम में बोलते हुए स्वामी गिरीशानंद ने कहा कि सत्संग से मन शांत होता है, साधना से बुद्धि शुद्ध होती है। सत्संग और साधना से जीवन संवर जाता है। उन्होंने भक्ति के महत्व पर जोर देते हुए कहा कि भक्ति से हृदय में प्रेम और करुणा उत्पन्न होती है। यह अहंकार का नाश करती है। मन को परमात्मा से जोड़ती है और जीवन में आनंद तथा संतोष का संचार करती है। डाक्टर स्वामी मुक्तानंद ने कहा कि परमात्मा ने मनुष्य को कामधेनु रूपी बुद्धि सदुपयोग करने के लिए दी है। इसका दुरुपयोग कदापि नहीं करना चाहिए। बुद्धि का प्रयोग अच्छे कार्यों में लगाना चाहिए। परमात्मा की प्राप्ति में, सत्कर्म, परोपकार आदि में लगाना चाहिए। इससे सभी का कल्याण होगा। वृंदावन के संत स्वामी सर्व चैतन्य ने सुंदर भजन प्रस्तुत कर श्रोताओं को मंत्रमुग्ध कर दिया। प्रवचन दौरान प्रख्यात मृदंग वादक अवधेश द्विवेदी और 15 वर्षीय पखावज वादक अनमोल द्विवेदी ने पखावज का सुंदर वादन कर श्रोताओं का दिल जीत लिया।
प्रवचन श्रवण करने के लिए पूर्व विधायक तिंदवारी दलजीत सिंह, युवराज सिंह पूर्व विधायक, राजीव सिंह वैज्ञानिक नई दिल्ली, अतुल शुक्ला प्रोफेसर जे.एन. कॉलेज बांदा, डॉक्टर पुरुषोत्तम सिंह प्रिंसिपल महाराजा बलवंत सिंह डिग्री कॉलेज वाराणसी, संत शेखर मिश्रा इंटर कॉलेज प्राध्यापक, डॉक्टर राजेश्वर सिंह डायरेक्टर स्वास्थ्य विभाग उत्तर प्रदेश शासन, भाजपा जिलाध्यक्ष सुनील पाठक, पूर्व मण्डल अध्यक्ष चक्रवर्ती शुक्ला, मण्डल अध्यक्ष रणवीर सिंह, निशांत सिंह, सौमित्र सिंह सहित सैकड़ों की संख्या में श्रोता मौजूद रहे। आयोजक राजेश सिंह ने सभी के प्रति आभार व्यक्त किया।
