लखनऊ। (UP News) उत्तर प्रदेश में फ्री राशन वितरण स्कीम के तहत अब सभी कार्डधारकों को योगी सरकार मुफ्त में निःशुल्क वितरण होने वाले राशन में बाजरा को भी देने लगी है। (UP News) यूपी खाद्य विभाग की ओर से इससे संबंधित जारी आदेश का पालन किया जाने लगा है। इसके तहत अगले साल फरवरी 2024 से लोगों को मिलने वाले राशन में गेहूं और चावल की मात्रा को कम करके उसे बाजरा को भी शामिल कर दिया गया है। जिसके तहत सभी राशन कार्ड धारकों को राशन में अब बाजरा भी मिलना शुरू हो गया है। यूपी खाद्य विभाग के अपर आयुक्त जीपी राय ने बातचीत में बताया कि यूपी में सरकार की मंशा के अनुरूप फ्री गेंहू चावल के साथ बाजरा भी बांटा जाने लगा है। (UP News)
अभी तक लाभार्थियों को हर महीने 35 किलोग्राम राशन में 14 किलोग्राम गेहूं और 21 किलोग्राम चावल निशुल्क दिया जाता है। लेकिन नए आदेश के बाद फरवरी से 14 किलोग्राम गेहूं, 10 किलोग्राम बाजरा और 11 किलोग्राम चावल दिया जाने लगा है। अपर आयुक्त जीपी राय ने सभी जिला पूर्ति अधिकारियों को आदेश जारी कर दिया है। इस आदेश में कहा गया है कि भारत सरकार के ख़रीफ विपणन साल 2023-24 में मूल्य समर्थन योजना अंतर्गत 50,000 मी. टन मक्का, 30,000 मी टन ज्वार और 50,000 मी टन बाजरा टीपीडीएस और वेलफेयर योजना के तहत खरीदने की अनुमति दी गई है। जिसके अंतर्गत एनएफएसए योजना में जनवरी माह के आवंटन में 25,000 मी टन चावल कम करते हुए 25,000 मी टन बाजरा वितरण की अनुमति दी गई है। आपको बता दें कि योगी सरकार मोटे अनाज को बढ़ावा देने के लिए यूपी सरकार ने नई पहल शुरू कर दी है।
अभी प्रति यूनिट दो किलो गेहूं, तीन किलो चावल निश्शुल्क दिया जाता है। कोटेदारों को जनवरी के लिए चालान जारी कर दिए गए थे। यह उस माल के चालान थे जो कोटेदारों को जारी किया जाते थे और इसे भारतीय खाद्य निगम के गोदामों से उठाकर कोटेदारों को राशन कार्ड धारकों को वितरित करना होता है। इस चालान में बाजरा का भी उल्लेख किया गया। किस कोटेदार को कितना बाजार दिया जा रहा है, यह भी उल्लेख है। सर्दियों में मोटा अनाज ज्यादा बिकता है। इसमें ज्वार, बाजरा, मक्का सबसे ज्यादा है। गल्ला के थोक कारोबारी अजय बाजपेई के मुताबिक अभी थोक बाजार में बाजरा 2,150 रुपये प्रति क्विंटल है। सर्दी में इसका भाव बढ़ने की उम्मीद लगाई जा रही थी लेकिन जिले में 28,46,970 लोगों तक नि:शुल्क बाजरा पहुंचने से बाजार में इसके भाव बढ़ने की उम्मीद खत्म हो गई है।